संविदा शिक्षकों की पदस्थापना अब तक क्यों नहीं की गई? बच्चों की प्रवेश प्रक्रिया में भी लगातार देरी क्यों? – कोमल हुपेंडी, अध्यक्ष,आप।

संविदा शिक्षकों की पदस्थापना अब तक क्यों नहीं की गई? बच्चों की प्रवेश प्रक्रिया में भी लगातार देरी क्यों? – कोमल हुपेंडी, अध्यक्ष,आप।

September 4, 2022 0 By Central News Service

दिल्ली का शिक्षा मॉडल मेहनत से तैयार किया गया सिस्टम और उसका क्रियान्वन भी है जिसमे भ्रष्टाचार नहीं है – कोमल हुपेंडी, अध्यक्ष,आप।

प्रदेश भर में संविदा शिक्षकों की पदस्थापना में लगातार हो रही धांधली , जिम्मेदार क्यों नही कर रहे कायदे कानून का पालन ! – गोपाल साहू, प्रदेश संगठन सचिव,आप

आप प्रदेश अध्यक्ष कोमल हुपेंडी ने सवाल करते हुए सरकार से पूछा है शिक्षक नियुक्ति में देरी क्यों हो रही है , नए उत्कृष्ट अंग्रेजी स्कूलों में पढ़ाई लगातार पिछड़ रही है।

कुछ स्कूलों में तो अब तक पढ़ाई भी शुरू नहीं हो पाई ज्यादातर स्कूलों में अगस्त के तीसरे सप्ताह में भी प्रवेश की प्रक्रिया चल ही रही है।

शिक्षकों की पदस्थापना और बच्चों के प्रवेश में देरी के चलते इस साल से शुरू हुए स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट स्कूल में कार्यकलाप कछुए की चाल चल रहा है।इस वजह से सत्र शुरू भी देर से होगा।

स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम स्कूल योजना के अंतर्गत पूर्व से 171 अंग्रेजी स्कूल संचालित हो रहे हैं। इस साल से 76 और उत्कृष्ट स्कूल खोले गए। इसके अलावा 32 उत्कृष्ट हिन्दी स्कूल भी संचालित इसी साल से हो रहे हैं। नए उत्कृष्ट अंग्रेजी स्कूलों की घोषणा में देरी का असर पूरे शैक्षणिक कैलेण्डर पर पड़ गया है। अधिकांश स्कूलों में प्रतिनियुक्ति के तहत शिक्षकों का राज्य स्तर पर स्थानांतरण पूरा नहीं हो पाया है। इसके अलावा संविदा शिक्षकों व कर्मचारियों की पदस्थापना भी नहीं हो पाई है और कुछ स्थानों पर प्रदेश में भ्रष्टाचार के चलते धांधली अपने चरम पर है और नियुक्ति कायदे कानून तक पर रख हो रही है। ऐसे में नए स्कूलों में बच्चों की पढ़ाई कब शुरू होगी ये पालकों की चिंता बढ़ा रही है।

अंग्रेजी स्कूलों में प्रवेश के लिए जबर्दस्त मारामारी रही। स्कूलों में प्रवेश की प्रक्रिया जहां पूरी हो चुकी है परंतु पढ़ाई ही शुरू नहीं हो पाई है। सबसे ज्यादा चिंता उन बच्चों के पालक हैं, जिन्होंने निजी स्कूलों से अपने बच्चों निकालकर सरकारी अंग्रेजी स्कूलों में एडमिशन कराया है। पढ़ाई पिछड़ने से 10वीं और 12वीं के बच्चे भी परेशान हैं। ज्यादातर स्कूलों में अगस्त के तीसरे सप्ताह में प्रवेश के लिए लॉटरी निकली है।

नए अंग्रेजी स्कूलों में प्रतिनियुक्ति के तहत शिक्षकों के स्थानांतरण आदेश भी अटक गए हैं। पिछले दिनों बालोद, कांकेर, जशपुर, बलरामपुर, राजनांदगांव समेत एक दर्जन जिलों में संचालित अंग्रेजी स्कूलों में अधिकारियों-कर्मचारियों के स्थानांतरण आदेश जारी हुए थे। कई तरह की त्रुटियों के चलते उस आदेश को भी निरस्त करना पड़ा। शिक्षकों की पदस्थापना नहीं होने से पढ़ाई भी कब शुरू होगी। सितंबर माह शुरू हो गया है और इस माह तिमाही परीक्षा होने वाली है। जो बच्चे पढ़े ही नहीं है, पालक भी चिंतित हैं।उनकी परीक्षा कैसे हो पाएगी। पढ़ाई में देरी से न केवल बच्चे बल्कि पालक भी परेशान है और बड़े असमंजस में है।

कांग्रेस की भूपेश सरकार केजरीवाल के दिल्ली शिक्षा मॉडल कॉपी तो करना चाह रहे है लेकिन मॉडल सामने होने पर भी नकल नहीं कर पा रहे है।

कोमल हुपेंडी ने अंत में कहा भूपेश जी दिल्ली मॉडल सिर्फ रंग रोगन या स्कूल खोलने का ऐलान नही है उसमे दिन रात की मेहनत से तैयार किया गया सिस्टम और उसका क्रियान्वन भी है जिसमे भ्रष्टाचार नहीं है।

जनता अपने बच्चो के हाल होते देख रही है इस बार 2023में सबक़ सिखायेगी, अब जनता भी जान चुकी है की कांग्रेस और भाजपा से कुछ नही होगा अब आम आदमी पार्टी की ईमानदार सरकार बनेगी तभी प्रदेश की सभी समस्याओं का हल निकलेगा बस कुछ महीने और आम आदमी पार्टी प्रदेश की जन साधारण जनता के अधिकार के लिए सड़क की लड़ाई भी लड़ेगी और आने वाले दिनों में मूलभूत परिवर्तन लाने का प्रयास करेगी। बदलबाे छत्तीसगढ़।