सुहागिनों ने निर्जला उपवास रखकर कि वट वृक्ष कि पूजा…सुनी सत्यवान सावित्री कि कथा….
May 31, 2022महासमुंद 31 मई 2022/ वट सावित्री अमावस्या सुहागिन महिलाओं ने पति की दीर्घायु के लिए वट वृक्ष की पूजा की इस दिन महिलाएं निर्जला उपवास करते हैं।
पूजन के उपरांत सत्यवान सावित्री की कथा सुनते हैं सुबह से ही महिलाएं वट वृक्ष की पूजा करते हैं क्षेत्र अनेक गांवों में विधि विधान पूर्वक वृक्ष की पूजा की गई।
जिसमें बहुत महिलाओं द्वारा मंत्रोच्चार के साथ पूजन की गई मामाभांचा में भी उल्लास पूर्ण माहौल में वट सावित्री की पूजा की गई। इस दिन महिलाएं सुहाग श्रृंगार के साथ पूजन अर्चन करते हैं तथा विभिन्न प्रकार के फल वट वृक्ष को समर्पित करते हैं।
ऐसी पौराणिक मान्यता है कि अमावस्या के दिन सत्यवान की मृत्यु हुई थी तब पत्नी सावित्री ने उनके प्राण लेने के लिए यमराज का यमलोक तक पीछा किया और प्राण वापस लेकर आई। इसी मान्यता के अनुसार हर वर्ष वट सावित्री की पूजा की जाती है।